क्या खबर है play
10-10-2025
आधुनिक एसटीपी से नदी का जल होगा स्वच्छ, दैनिक जागरण, नई दिल्ली, दिनांक: 10-10-202508-10-2025
सरदार पटेल की जयंती पर यमुना से झेलम तक पहुंचेगा 'एकता का जल', दैनिक जागरण, नई दिल्ली, दिनांक: 08-10-202526-09-2025
वाटर विजन-2047 में नदियों के संरक्षण पर काम-पाटिल, दैनिक जागरण, नई दिल्ली, दिनांक: 26-09-202525-09-2025
हाल के दशकों में गंगा अभूतपूर्व रूप से सुखी अध्ययन, दैनिक जागरण, नई दिल्ली, दिनांक: 25-09-202524-09-2025
यमुना की सफाई होगी तेज़, एशिया के सबसे बड़े ओखला एसटीपी का उद्घाटन 30 को, दैनिक जागरण, नई दिल्ली, दिनांक: 2415-09-2025
कचरे से बने ईंधन, दौड़े कार, न हो प्रदूषण, दैनिक जागरण, नई दिल्ली, दिनांक: 15-09-202510-09-2025
कभी डैंजर जोन में था, अब जल संकट से निपटने में बना रोल माडल, दैनिक जागरण, नई दिल्ली, दिनांक: 10-09-202503-09-2025
तेजी से बढ़ रहीं ग्लेशियर झीलें ला सकतीं है तबाही, दैनिक जागरण, नई दिल्ली, दिनांक: 03-09-202502-09-2025
जलवायु परिवर्तन ने बदली बादलों की प्रकृति, बदला वर्षा का पैटर्न, दैनिक जागरण, नई दिल्ली, दिनांक: 02-09-2025
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श्री बालेश्वर ठाकुर महानिदेशक, रा.ज.वि.अ.
केंद्रीय जल आयोग और तत्कालीन सिंचाई मंत्रालय (अब जल शक्ति मंत्रालय, जल संसाधन, नदी विकास और गंगा संरक्षण विभाग (डीओडब्ल्यूआर, आरडी और जीआर)) द्वारा तैयार राष्ट्रीय परिप्रेक्ष्य योजना के प्रायद्वीपीय नदी विकास घटक को ठोस आकार देने एवं व्यवहार्यता रिपोर्ट तैयार करने के लिए प्रायद्वीपीय नदी प्रणाली के जल संसाधनों के इष्टतम उपयोग के लिए वैज्ञानिक और यथार्थवादी आधार पर जल संतुलन और अन्य अध्ययन के लिए राष्ट्रीय जल विकास अभिकरण (राजविअ) की स्थापना जुलाई 1982 में सोसाइटी पंजीकरण अधिनियम 1860 के अंतर्गत एक स्वायत्त सोसाइटी के रूप में की गई थी। वर्ष 1990 में, राजविअ को राष्ट्रीय परिप्रेक्ष्य योजना के हिमालयी घटक का कार्य भी सौंपा गया था। वर्ष 2006 में यह निर्णय लिया गया था कि राजविअ अंतर-राज्यीय लिंकों की व्यवहार्यता का पता लगाएगा और राष्ट्रीय परिप्रेक्ष्य योजना (एनपीपी) के अंतर्गत नदी लिंक प्रस्तावों की…...और देखें